जय सियाराम जी 👏*

*सारे जहाँ में छाया तेरी रहमत का नूर है* 
 *दुनिया में हर जगह तेरी कृपा मशहूर है* 
 *वो नादान है जो तुझे भूल जाते हैं राम जी* 
 *फिर खाते हैं ठोकरें इसमें तेरा क्या कसूर है*

       *जय सियाराम जी 👏*

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